रायपुर/25 अप्रैल 2022। प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष मोहन मरकाम ने गुजरात के विधायक जिग्नेश मेवाणी की गिरफ्तारी और उनकी जमानत याचिका को खारिज किये जाने को अलोकतांत्रिक और भाजपा का तानाशाही चरित्र बताया है। सिर्फ सोशल मीडिया में मोदी के विरुद्ध एक ट्वीट इतना संगीन अपराध हो गया कि एक जनप्रतिनिधि की स्वतंत्रता को छीन लिया गया।
गुजरात के विधायक जिग्नेश मेवाणी की जमानत याचिका खारिज कर दी गई और उन्हें 3 दिन की पुलिस हिरासत में भेज दिया गया।
उनके ट्वीट के आधार पर प्राथमिकी दर्ज करने के साथ ही तथाकथित आपराधिक साजिश का संकेत देने का एक सबूतों का एक और बंद लिफाफा पुलिस ने अदालत में पेश किया। इस सामग्री के आधार पर उनकी जमानत याचिका खारिज कर दी गई। ऐसा प्रतीत होता है कि उस पर यूएपीए या किसी अन्य गैर जमानती के तहत मामला दर्ज किया जा सकता है।
प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष मोहन मरकाम ने कहा कि भाजपा और मोदी अपनी आलोचना को सहने के लोकतांत्रिक चरित्र को खो चुके है।संघ की शाखाओं में सिखाया जाने वाला फासीवादी पाठ को भाजपाई सत्ताधीश संवैधानिक पदों पर बैठने के बाद भी भूल नहीं पा रहे है। प्रजातंत्र में आलोचना विपक्ष का धर्म और हथियार है। भाजपाई अपने बहुमत के अतिवादी चरित्र के कारण विपक्ष को कमजोर करने के लिए कानून का दुरुपयोग कर रहे हैं। कांग्रेस, भाजपा के इस तानाशाही रवैय्ये का कड़ा विरोध करती है तथा जिग्नेश मेवाणी की रिहाई की मांग करती है