छत्तीसगढ़ राजभवन में राष्ट्रीय सम्मेलन का आयोजन
महात्मा गाँधी के 150 वें जयंती पर आयोजित किया गया। इस समारोह के आयोजक अहिंसा विश्व भारती है।
इस दौरान राज्यपाल अनुसुइया उइके, मुख्यमंत्री भूपेश बघेल,गृहमंत्री ताम्रध्वज साहू, स्वामी दिपांकर, बंगला साहेब के चेयरमैन समेत विशिष्टजन मौज़ूद हैं।
राजभवन में गृहमंत्री ताम्रध्वज साहू ने सम्बोधन
राष्ट्रपति के आतिथ्य में कुछ दिन पहले भी ऐसा आयोजन हुआ । संस्था के स्थापना के पीछे का उद्देश्य शांति, अहिंसा, सद्भावना है। आचार्य लोकेश को नमन करता हूँ। वो पवित्र उद्देश्य लेकर जागरूकता फैला रहे हैं । दौरे के दौरान दिमाग में बात आती है, कि अहिंसा के बारे में बहुत प्रयास किये जाते हैं। उन्होंने कहा कि हम देखते हैं कि हमेशा धार्मिक और आध्यात्मिक कार्यक्रम होते हैं । दिन रात कथा, यज्ञ चलता है पर इतने धार्मिक आयोजन के बाद भी फायदा होता है कि नहीं सोचने वाली बात है।
जब इतना आयोजन हो रहा है फिर भी वर्तमान में भौतिकवादी युग, टीवी संस्कृति घातक है।
जो टीवी में आता है। बाजार में तुरंत आ जाता है।
भारतीय संस्कृति के विपरीत काम हो रहा है।
संस्कार बहुत ज़्यादा ज़रुरी है।
टीवी संस्कृति खराब कर रही है युवाओं को।
सिर्फ व्यापारी, नौकरी करने शिक्षा दिया जा रहा है। बड़े स्कूलों में बड़ी फीस के बाद भी संस्कार की शिक्षा की ज़रुरत है। पालकों की ज़िम्मेदारी है। हर पालक ख़ूब पढ़ाओ पर संस्कार पहले दीजिये, कलेक्टर बनाइये, पर संस्कार दीजिये।
रेपकांड के लिए सम्मान सुरक्षित नहीं रख पाते।
लड़कों को क्या खुला लायसेंस दिया गया है। संस्कार लड़कों को ज्यादा देने की ज़रुरत है। बेटियाँ रातभर घूमें दिक्कत नहीं होगी। गृहमंत्री ताम्रध्वज साहू ने आगे कहा कि पालकों की ज़िम्मेदारी है कि बच्चों को संस्कार दें।